यूपी डेस्कः सुलतानपुर की किशोरी का अपहरण कर सूरत में ले जाकर उसके साथ दुष्कर्म की कोशिश की गई। किशोरी ने विरोध किया तो पेट्रोल डालकर उसे जला देने की कोशिश की गई। गंभीर हालत में किशोरी को लखनऊ में भर्ती कराया गया है। किशोरी अपने मामा के घर रहती थी। बीते 28 जनवरी को गांव का रहने वाला युवक उसे बहला-फुसलाकर सूरत लेकर गया था।
घर से लापता होने के 4 दिन बात किशोरी के घरवालों को इस बात की जानकारी हुई, तो पिता ने थाने में गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। फिलहाल जयसिंहपुर पुलिस ने पीड़िता के बयान दर्ज कर लिए हैं। पूरा मामला जयसिंहपुर कोतवाली क्षेत्र के एक गांव का है। 16 वर्षीय किशोरी अपने मामा के घर रहती है और 11वीं की छात्रा है। पुलिस के मुताबिक, 2 फरवरी को पिता ने बेटी के अपहरण का केस दर्ज कराया था। किशोरी के गांव के युवक महावीर उर्फ बीरे और एक अज्ञात पर केस लिखा गया था।
पिता ने पुलिस को बताया कि 28 जनवरी को बेटी के भागने की जानकारी उसे साले ने दी थी। बेटी अपने मामा के घर पर ही रहती थी। उसके मामा ने बताया कि महावीर उसको बहलाकर अपने साथ लेकर गुजरात चला गया। वह दोनों कई बार एक दूसरे से मिलते-जुलते भी थी। लेकिन बदनामी के डर से किसी को नहीं बताया। पिता ने बताया, “28 मार्च को महावीर ने फोन कर बताया कि तुम्हारी बेटी सूरत में अस्पताल में भर्ती है। वह पूरी तरह से जल गई है। मैंने उसकी बात का यकीन नहीं किया। उसका फोन काट दिया था। इसके बाद उसने फोन पर फोटो भेजी। तब यकीन हुआ कि बेटी गंभीर हालत में है।
उसका शरीर जल गया था। इसके बाद मैंने एसपी सोमन वर्मा से मामले में मदद मांगी। 29 मार्च को एसपी मुलाकात की। एसपी ने सेमरी चौकी इंचार्ज कृष्ण कांत यादव के नेतृत्व में पुलिस की टीम के साथ मुझे सूरत भेजा। 30 मार्च को हम लोग अस्पताल पहुंचे, जहां बेटी भर्ती थी।’’ पिता ने बताया, “अस्पताल के बेड पर बेटी अचेत अवस्था में पड़ी थी। वह कुछ भी बोल नहीं पा रही थी। इसके बाद पुलिस की मदद से 2 अप्रैल को बेटी को सुलतानपुर लेकर पहुंचा। यहां पर जिला अस्पताल में भर्ती कराया। दो दिन तक इलाज चला। 4 अप्रैल को डॉक्टर ने बेटी की हालत नाजुक बताकर लखनऊ रेफर कर दिया। डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी अस्पताल में बेटी का इलाज चल रहा है। उसकी हालत ठीक नहीं है।